आज से शुरू हो रही, शारदीय नवरात्रि माँ शैलपुत्री की पूजा जाने, शुभ मुहूर्त…

आज से शुरू हो रही, शारदीय नवरात्रि माँ शैलपुत्री की पूजा जाने, शुभ मुहूर्त…

आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि पर हर वर्ष शारदीय नवरात्रि आरंभ हो जाते हैं। इस साल शारदीय नवरात्रि 7 अक्तूबर, गुरुवार से प्रारंभ  हो गए हैं। नवरात्रि पर नौ दिनों के लिए देवी दुर्गा का आगमन पृथ्वी पर होता है और सभी भक्त मां को प्रसन्न करने के लिए नौ दिनों तक विशेष रूप से पूजा आराधना करते हैं और उपवास रखते हैं। इस वर्ष नवरात्रि का पर्व 9 दिनों के बजाय 8 दिनों तक रहेगा। नवरात्रि के पहले दिन प्रतिपदा तिथि पर कलश  स्थापना के साथ देवी दुर्गा के पहले स्वरूप की पूजा आराधना करते हुए नवरात्रि का उत्सव आरंभ हो जाएगा।

शारदीय नवरात्रि 2021 के लिए कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त.. 
शारदीय नवरात्रि पर प्रतिपदा तिथि पर कलश स्थापना का सबसे अच्छा शुभ मुहूर्त 07 अक्तूबर को अभिजीत मुहूर्त का रहेगा। इस दिन अभिजीत मुहूर्त 11 बजकर 52 मिनट से 12 बजकर 38 मिनट का रहेगा। ऐसे में यह समय कलश स्थापना के लिए सर्वश्रेष्ठ रहेगा। इसके अलावा देवी की आराधना और कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त सुबह 6 बजकर 17 मिनट से लेकर 10 बजकर 17 मिनट तक किया जा सकता है

मां शैलपुत्री पूजा विधि
नवरात्रि के पहले दिन कलश स्थापना के बाद मां दुर्गा की पूजा की जाती है और व्रत का संकल्प लेते हैं. इसके बाद मां शैलपुत्री की पूजा की जाती है. उन्हें लाल सिंदूर, अक्षत, धूप आदि चढ़ाएं. इसके बाद माता के मंत्रों का उच्चारण किया जाता है. दुर्गा चालीसा का पाठ करें और इसके बाद घी का दीपक और कपूर जलाकर आरती करें.

माता की चौकी का है विशेष महत्व..
माता की चौकी की स्थापना करने से पहले वहां स्वास्तिक बना लें. इसके अलावा कलश स्थापान की पूजा सामग्री को भी एक जगह एकत्रित करके रख लें ताकि पूजा के समय किसी तरह की कोई परेशानी न हों.

जानिए किस दिन कौन-सा शुभ योग बनेगा………
7 अक्टूबर- घट स्थापना, मां शैलपुत्री पूजन, अग्रसेन जयंती, चंद्रदर्शन

8 अक्टूबर- मां ब्रह्मचारिणी पूजन, रवियोग सायं 7.01 से, वक्री बुध हस्त में

9 अक्टूबर- मां चंद्रघंटा और मां कुष्मांडा पूजन, विनायक चतुर्थी, रवियोग सायं 4.48 तक

10 अक्टूबर- स्कंदमाता पूजन, ललिता पंचमी, सूर्य चित्रा में, रवियोग सायं 6.46 से

11 अक्टूबर- मां कात्यायनी पूजन, मंगल चित्रा में, शनि मार्गी

12 अक्टूबर- मां कालरात्रि पूजन, रवियोग प्रात: 11.26 तक

13 अक्टूबर- दुर्गा अष्टमी, महागौरी पूजन

14 अक्टूबर- महानवमी, मां सिद्धिदात्री पूजन, नवरात्र उत्थापन

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